पीटीसी इंडिया के तिमाही वित्तीय परिणाम घोषित
नई दिल्ली। पीटीसी इंडिया फाइनेंशियल सर्विसिस लिमिटेड ने 31 दिसंबर 2017 को समाप्त तिमाही और नौ माही के वित्तीय नतीजे प्रकाशित किऐ है। वित्त वर्ष 2018 की तीसरी तिमाही में सकल राजस्व रु. 302 करोड़ रहा, जबकि वित्त वर्ष 2017 की तीसरी तिमाही में यह रु. 314 करोड़ था। समीक्षाधीन तिमाही में ब्याज से हुई आय रु. 283 करोड़ थी जबकि बीते वित्त वर्ष की समान अवधि में यह आंकड़ा रु. 293 करोड़ था। साल दर साल आधार पर अनर्जक परिसम्पत्तियों तथा अन्य दबाव युक्त सम्पत्तियों की वजह से ब्याज से हई आमदनी 4 प्रतिशत घटी है।
वित्त वर्ष 2018 की तीसरी तिमाही में फीस आधारित आय 18 करोड़ रुपए रही।
31 दिसंबर 2017 को समाप्त तिमाही में कर पूर्व लाभ 53 करोड़ रुपए और कर पश्चात् लाभ 34 करोड़ रुपए रहा। कंपनी का क्रैडिट पोर्टफोलियो निरंतर बढ़ रहा है, हालांकि लाभकारिता पर पहले से दबाव में चली आ रही सम्पत्तियों के कारण असर पड़ा है। 31 दिसंबर 2017 को बकाया कर्ज़ यानी फंड आधारित एवं गैर-फंड आधारित का समुच्चय - मंजूर ऋण के बरक्स रु. 13,297 करोड़ था; यानी की साल दर साल आधार पर करीब 31 प्रतिशत की वृद्धि दर्ज की गई। इस दौरान ऋण एवं इक्विटी निवेश के बरक्स प्रावधानों से वित्तीय प्रदर्शन पर असर पड़ा है और प्रदर्शन न करने वाली एवं दबाव झेल रही अधिकांश सम्पत्तियां समाधान की ओर बढ़ रही हैं।
दबाव युक्त ऋण सम्पत्तियों पर नियंत्रण हेतु निरंतर कोशिशों से 31 दिसंबर 2017 तक सकल अनर्जक परिसंपत्तियां (एनपीए) घट कर 4.87 प्रतिशत हो "ईं, जबकि 30 सितंबर 2017 तक यह आंकड़ा 5.92 प्रतिशत था। 23 प्रतिशत पूंजी पर्याप्तता अनुपात के साथ कंपनी के पास पर्याप्त पूंजी है जिसके बल पर कंपनी दबाव युक्त पोर्टफोलियो को संभालते हुए वृद्धि को बरकरार रखेगी।

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